मुरादाबाद : महानगर की सीमा से सटे दस गांव सात साल पहले महानगर में शामिल करने की योजना अब परवान चढ़ने की उम्मीद है। 56 जिलों में नए और सीमा विस्तार वाले 151 निकायों में मुरादाबाद का नाम भी शामिल है। वर्ष 2015 में भी महानगर की सीमा से सटे दस गांव को शामिल करने की रिपोर्ट तैयार करके तत्कालीन नगर विकास सचिव को भेजी गई थी। लेकिन, 2015 में हुए ग्राम पंचायत के चुनाव में जीतने वाले ग्राम प्रधानों की आपत्ति के बाद शासन ने रोक लगा दी थी।
ग्राम प्रधानों का मानना था कि पैसा खर्च करके वह चुनाव जीते अब महानगर में उनके गांव शामिल होने से पैसा व्यर्थ जाएगा। इसके बाद महानगर के सीमा विस्तार का मुद्दा ठंडे बस्ते में डाल दिया गया था। अब फिर सीमा विस्तार को आदेश कर दिए हैं। मुरादाबाद में कई गांव ऐसे हैं, पूरी तरह शहर में लेकिन, ग्राम पंचायत में आते हैं। भोला सिंह की मिलक, मोरा की मिलक, मंगूपुरा शहर की आबादी से घिरे हुए हैं।
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पुराने सर्वे में दस गांव की 1.50 लाख थी आबादीः वर्ष 2015 में हुए सर्वे में दस गांव की आबादी 1.50 लाख थी। नगर निगम को अब शासनादेश का इंतजार है। अपर नगर आयुक्त ने पुरानी फाइल को निकालने के निर्देश दे दिए हैं। पहले 2011 की आबादी के हिसाब से गणना करते हुए नए वार्ड बनाने का प्रस्ताव भेजा गया था। हर दस साल बाद होने वाली गणना के आधार पर नए वार्ड बनाए जा सकते हैं।
यही सात सालों में महानगर का सीमा क्षेत्र बढ़ा है तो अब नए सर्वे में दस से अधिक गांव शामिल हो सकते हैं। मुरादाबाद में वर्तमान में 70 वार्ड हैं। सीमा विस्तार में 80 से 90 वार्ड तक हो सकते हैं। नगर निगम का चुनाव इसी वर्ष अक्टूबर-नवंबर में होना है। इससे पहले ही नए वार्डों का गठन होगा या नहीं, इसको लेकर शासनादेश का इंतजार है।
2015 में चिह्नित किए गएः भोला सिंह मिलक, भैंसिया, मंगूपुरा, मोरा मुस्तकम, मझरा रामनगर, धर्मपुर सेरुआ, पाकबड़ा, मनोहरपुर, डिडौरा, रसूलपुर हैं।
क्या कहते हैं आर्किटेक्टः एमआइटी उपाध्यक्ष और आर्किटेक्ट वाइपी गुप्ता ने बताया कि महानगर की सीमा से सटे गांव उप शहरी क्षेत्र में होने के कारण अभी अविकसित हैं। लेकिन, यहां शिक्षा, औद्योगिक, फाइव स्टार होटल, फ्लाई ओवर, माल बन चुके हैं। लेकिन, सड़कें, ट्रांसपोर्ट, पेयजल की आपूर्ति ठीक नहीं है। नगर निगम में यह उप शहरी क्षेत्र शामिल होगा तो नगर निगम को टैक्स के रूप में आय बढ़ेगी। 100 एकड़ में बसा नया मुरादाबाद भी इसमें शामिल करना जरूरी है। वरना, अभी तक 25 से विकास की वाट जोह रहे नया मुरादाबाद और पिछड़ जाएगा।
मुरादाबाद महानगर की सीमा से सटे यह भी गांव
सम्भल रोड- नूरपुर, ऊंचा कानी, फरीदपु़र, मुहम्मदपुर बस्तौर, लालपुर, हुसैनपुर।
दिल्ली रोड- मंगूपुरा, पाकबड़ा, नया मुरादाबाद, लोदीपुर राजपूत।
रामपुर रोड- ताजपुर, एकता विहार, भैंसिया, ढकिया, मझरा रामनगर, अक्का डिलारी।
कांठ रोड- लदावली, धर्मपुर सेरुआ, मोरा मुस्तकम, अगवानपुर।